No: 21 Dated: Mar, 04 2020

1. संक्षिप्त नाम, विस्तार एवं प्रारंभ :- (i) यह नियमावली “बिहार लोकायुक्त (अन्वेषण) (संशोधन) नियमावली, 2020" कही जा सकेगी। 
    (ii) इसका विस्तार संपूर्ण बिहार राज्य में होगा। 
    (iii) यह तुरत के प्रभाव से प्रवृत होगी। 
2."बिहार लोकायुक्त (अन्वेषण) नियमावली, 2013* के नियम-4 के उप नियम-1 में कंडिका-(ड) जोड़ा जाना :- उक्त नियमावली में नियम-4 के उप नियम-1 में निम्नवत् जोड़ा जायेगा : 
    -(ड) क्या सदृश्य परिवाद पूर्व में किसी न्यायालय/प्राधिकार के समक्ष उन शिकायतों के लिए दायर नहीं किया गया है, जिसके लिए उनके द्वारा लोकायुक्त संस्थान के समक्ष परिवाद पत्र दायर किया गया है ?
 3.उक्त नियमावली के नियम-6 के उप नियम-2 को उप नियम-2 (क) के रूप में पुनर्नामित किया जाना :- 
      उक्त नियमावली के नियम-6 के उप नियम-2 को उप नियम-2(क) के रूप में पुनर्नामित किया जायेगा : 
        "उक्त नियमावली के नियम-6 के उप नियम-2 को उप नियम-2(क) के रूप में पुनर्नामित किया जाता है।
4.उक्त नियमावली के नियम-6 के उप नियम-2 में एक नया उप नियम-2(ख) जोड़ा जाना : 
    "उक्त नियमावली के नियम-6 के उप नियम-2(क) के बाद उप नियम-2(ख) निम्नवत् जोड़ा जायेगा : 
    "2 (ख) परिवादी को यह घोषणा करना होगा कि उनके द्वारा सदृश्य वाद किसी न्यायालय/ प्राधिकार के समक्ष दायर नहीं किया गया है अथवा लंबित नहीं है। यदि उनके द्वारा कोई वाद किसी न्यायालय/प्राधिकार के समक्ष पूर्व में दायर किया गया हो तो इसका पूर्ण विवरण एवं संबंधित न्यायालय/प्राधिकार द्वारा पारित अंतिम आदेश की प्रति संलग्न करना अनिवार्य होगा। 

बिहार राज्यपाल के आदेश से. 
(उदय कुमार सिंह) सरकार के अपर सचिव।

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