No: 18/1134 Dated: Jan, 22 2016

1. संक्षिप्त नाम विस्तार और प्रारंभ:- (1) यह नियमावली "बिहार लोक शिकायत निवारण अधिकार नियमावली, 2018" कही जा सकेगी। 
      (2) इसका विस्तार सम्पूर्ण बिहार राज्य में होगा। 
      (3) यह उस तिथि से प्रवृत्त होगा जिसे राज्य सरकार, राजपत्र में अधिसूचना द्वारा नियत करे। 
2. परिभाषाएँ:- (1) इस नियमावली में, जब तक कि संदर्भ से अन्यथा अपेक्षित न हो
      (क) "अधिनियम" से अभिप्रेत है, बिहार लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम, 2015; 
      (ख) “केन्द्र" से अभिप्रेत है, इस अधिनियम की धारा (6) के अधीन स्थापित सूचना एवं सहायता
      (ग) “प्रपत्र" से अभिप्रेत है, इस नियमावली में परिशिष्ट के रूप में संलग्न प्रपत्र,
      (घ) “धारा" से अभिप्रेत है. अधिनियम की धारा;
      (ङ) "लोक प्राधिकार" से अभिप्रेत है, अधिनियम की धारा 2 (ङ) में वर्णित राज्य सरकार और इसके विभाग और इसमें राज्य विधान-मण्डल द्वारा बनायी गयी किसी विधि द्वारा या उसके अधीन स्थापित या गठित प्राधिकार या निकाय या संस्था सम्मिलित है।
   (2) इस नियमावली में प्रयुक्त किंतु अपरिभाषित शब्दों एवं अभिव्यक्तियों के क्रमशः वही अर्थ होंगे. जो अधिनियम में उनके लिए प्रयुक्त किये गये हों।
3. परिवाद:- (1) कोई भी व्यक्ति, जो अधिनियम के अधीन अपनी परिवाद पर सुनवाई और उसके निवारण का इच्छुक हो. प्रपत्र-1 अथवा सादे कागज में अपना नाम, पता, मोबाईल / फोन नम्बर, ई-मेल, आधार कार्ड संख्या और परिवाद की विशिष्टयों का उल्लेख करते हुए लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी को परिवाद प्रस्तुत करेगा किन्तु मोबाईल/फोन नम्बर, ई-मेल एवं आधार कार्ड संख्या का उल्लेख करना अनिवार्य नहीं होगा। 
   (2) लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी या उनके द्वारा प्राधिकृत किसी अन्य पदाधिकारी या कर्मचारी या केन्द्र प्रभारी द्वारा परिवाद प्राप्त किया जायेगा।
   (3) परिवाद प्राप्त करने वाले पदाधिकारी/कर्मचारी का कर्तव्य होगा कि वे परिवाद में उल्लिखित अपूर्ण सूचना के संबंध में परिवादी से, यदि वह उपस्थित हो, से सूचना प्राप्त कर परिवाद में उल्लिखित करेगा तथा परिवाद पर परिवादी का, यथास्थिति, हस्ताक्षर या अंगूठे का निशान प्राप्त करेगा। 
   (4) यदि लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी किसी परिवाद के संबंध में किसी सूचना को अपर्याप्त या अपूर्ण पाता है तो वह परिवाद प्राप्त करने के सात दिनों के भीतर परिवादी को वांछित सूचना उपलब्ध कराने हेतु नोटिस तामील करेगा। 
   (5) अधिनियम के अधीन परिवाद दायर करने हेतु इच्छुक व्यक्ति द्वारा परिवाद दाखिल करने के संबंध में, सूचना माँगे जाने पर, लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी या उनके द्वारा प्राधिकृत पदाधिकारी/कर्मचारी या केन्द्र प्रभारी यथासंभव परिवादी की सहायता करेंगे।
   (6) राज्य सरकार परिवाद को प्राप्त करने एवं उसकी पावती देने के संबंध में निम्नलिखित माध्यमों के उपयोग की स्वीकृति देने हेतु सक्षम होगी:
      (क) डाक; 
      (ख) इलेक्ट्रॉनिक माध्यम यथा-ई-मेल, एस.एम.एस एवं ऑनलाईन पोर्टल आदि; 
      (ग) कॉल सेन्टर।
   (7) परिवाद प्राप्त होने पर, लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी या परिवाद प्राप्त करने हेतु उनके द्वारा प्राधिकृत व्यक्ति या केन्द्र प्रभारी प्रत्येक परिवाद को एक अनन्य पंजीयन संख्या आवंटित करेगा और इसी अनन्य पंजीयन संख्या का उपयोग सभी स्तरों, यथा-परिवाद की सुनवाई, प्रथम अपील, द्वितीय अपील या पुनरीक्षण में किया जायेगा। परिवाद की पावती:- परिवाद प्राप्त होने पर, लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी या उनके द्वारा प्राधिकृत कोई अन्य पदाधिकारी या कर्मचारी या केन्द्र प्रभारी परिवादी को प्रपत्र-2 में परिवाद की पावती देगा। इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से प्राप्त होने वाले परिवाद की पावती प्रपत्र-2 के बदले उसी इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से दी जा सकेगी जिस माध्यम से परिवाद प्राप्त हुआ हो।
5. परिवाद का अंतरण:- जहाँ परिवाद प्राप्त करने वाला लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी यह पाता है कि परिवाद की विषय-वस्तु किसी अन्य लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी की अधिकारिता के भीतर है, तो यह परिवाद को संबंधित लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी को अंतरित कर देगा और परिवाद प्राप्त करने के सात दिनों के अन्दर, ऐसे अंतरण की सूचना परिवादी को देगा।
6. सुनवाई दिवस:- प्रत्येक लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी, इस अधिनियम के अधीन प्राप्त परिवादों की सुनवाई के लिए, सप्ताह में कम-से-कम एक दिन निश्चित करेगा और इसे अपने कार्यालय के सूचना-पट्ट पर प्रदर्शित करेगा।
7. परिवाद की सुनवाई:- लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी परिवाद प्राप्त होने पर, नियत समय-सीमा के भीतर परिवादी को उसके शिकायत निवारण से संबंधित सुनवाई का अवसर देगा। सुनवाई के दौरान परिवादी अपने दावे के समर्थन में दस्तावेजी साक्ष्य प्रस्तुत कर सकेगा। लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी परिवादी को सुनवाई का समुचित अवसर देने के उपरान्त तथा संबंधित लोक सेवक द्वारा प्रस्तुत अभिलेख के अवलोकनोपरान्त मामले के संबंध में नियत समय सीमा के अन्दर अपना निर्णय पारित करेगा। लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी प्रपत्र-3 में परिवादी को मामले में पारित अपने निर्णय से अवगत करायेगा।
8. सूचना-पट्ट पर सूचना को प्रदर्शित करना:- लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी अधिनियम के अधीन सुनवाई से संबंधित सभी सुसंगत सूचनाओं को प्रपत्र-4 में सूचना-पट्ट पर प्रदर्शित करेगा। सूचना-पट्ट लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी के कार्यालय के सहज-दृश्य स्थान पर लगाया जाएगा।

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