Posted on 19 Sep, 2019 4:28 pm

प्रदेश के विशेष पिछड़े जनजाति बाहुल्य 15 जिलों में इस वर्ष 1008 छात्रावासों और आश्रम शालाओं में सोलर गीजर प्लांट लगाये जायेंगे। इसके लिये आदिम-जाति कल्याण विभाग के बजट में 26 करोड़ रूपये का प्रावधान किया गया है। इन क्षेत्रों मे 56 जूनियर छात्रावास, 531 सीनियर छात्रावास, 39 महाविद्यालयीन छात्रावास और 382 आश्रम शालाएँ हैं।

आदिवासी विद्यार्थियों को आवास भत्ता

प्रदेश में छात्रावासों में स्थान नहीं प्राप्त कर सके अनुसूचित जनजातीय विद्यार्थियों को आवासीय भत्ता उपलब्ध कराया जा रहा है। वर्ष 2017-18 में 65 हजार 304 और 2018-19 में 28 हजार 470 विद्यार्थियों को इस योजना से लाभान्वित किया गया।

योजना में आदिवासी विद्यार्थियों को संभागीय मुख्यालय के लिये 2000 रूपये, जिला मुख्यालय के लिये 1250 रूपये और विकासखण्ड अथवा तहसील मुख्यालय के लिये एक हजार रूपये प्रतिमाह आवासीय भत्ता दिया जा रहा है।

सेटेलाइट शिक्षा योजना

प्रदेश के सुदूर जनजातीय अंचलों में शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने के लिये अध्ययन-अध्यापन में आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया जा रहा है। इस कोशिश से आदिवासी विद्यार्थियों के शिक्षा स्तर में सुधार भी आया है। आदिवासी क्षेत्रों में 50 शैक्षणिक संस्थाओं में सेटेलाईट इंटरेक्टिव टर्मिनल (एस.आई.टी.) केन्द्र बनाया गया है। इन केन्द्रों में सेटेलाईट के जरिये विषय विशेषज्ञों द्वारा सीधे शिक्षण-प्रशिक्षण दिया जाता है। इस वर्ष योजना को एनआईसी के वर्जुवल क्लास रूम में मर्ज करने की कार्यवाही की जा रही है।

साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश